आंध्र प्रदेश कैडर के वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी सिद्धार्थ कौशल ने भारतीय पुलिस सेवा से स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) ले ली है। उन्होंने इस फैसले के पीछे निजी कारणों का हवाला दिया है। सिद्धार्थ कौशल की गिनती राज्य के तेजतर्रार और लोकप्रिय अफसरों में होती थी।
पुलिस सेवा में 13 वर्षों का सफर
साल 2010 बैच के आईपीएस अधिकारी सिद्धार्थ कौशल ने अपने 13 साल के करियर में पुलिस अधीक्षक (SP), डीसीपी और कमिश्नर जैसे कई अहम पदों पर कार्य किया। खासतौर पर विशाखापट्टनम, विजयवाड़ा, कृष्णा जिला और गुंटूर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में उन्होंने अपनी सख्त छवि और ईमानदार कार्यशैली से अलग पहचान बनाई।
लॉ एंड ऑर्डर में शानदार रिकॉर्ड
सिद्धार्थ कौशल ने अपनी पोस्टिंग के दौरान गैंग्स, ड्रग्स और अवैध गतिविधियों के खिलाफ सख्त एक्शन लिए। उनकी अगुआई में कई बड़े ऑपरेशन सफल हुए और अपराध दर में भी गिरावट आई।
VRS का फैसला क्यों?
हालांकि उन्होंने आधिकारिक तौर पर व्यक्तिगत कारणों का हवाला दिया है, लेकिन सूत्रों का मानना है कि प्रशासनिक दबाव, राजनीतिक हस्तक्षेप और स्वास्थ्य व पारिवारिक प्राथमिकताओं ने उनके इस फैसले को प्रभावित किया है। उन्होंने हाल ही में राज्य सरकार को VRS की अर्जी भेजी थी, जिसे स्वीकृति मिल गई है।
सोशल मीडिया पर छाया अफसर का नाम
उनकी लोकप्रियता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि सिद्धार्थ कौशल सोशल मीडिया पर भी काफी एक्टिव रहते थे और युवाओं को प्रेरणा देने वाले पोस्ट साझा करते थे। उनकी विदाई की खबर आते ही ट्विटर और फेसबुक पर यूज़र्स ने भावुक प्रतिक्रियाएं दीं।
क्या लौटेंगे दोबारा?
अब यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या सिद्धार्थ कौशल भविष्य में किसी नई भूमिका, राजनीति या सामाजिक क्षेत्र में नजर आएंगे, या पूरी तरह निजी जीवन को प्राथमिकता देंगे।